हाई कोर्ट के फैसले के बाद अब मंडल सहित देशभर के 21 हजार लेखा कर्मियों को पांचवें वेतन आयोग का 1996 से 2003 तक का एरियर मिलने का रास्ता साफ हो गया है। ऑल इंडिया रेलवे अकाउंट स्टाफ एसोसिएशन इसके लिए 25 साल से लड़ रहा था। एसोसिएशन (वेस्टर्न रेलवे) के महामंत्री प्रकाश व्यास ने बताया 18 दिसंबर को हाईकोर्ट ने एसोसिएशन के पक्ष में फैसला देते हुए रेलवे को 12 सप्ताह में एरियर भुगतान के आदेश दिए हैं। ऐसा नहीं होने पर 6 प्रतिशत ब्याज देना होगा। हाईकोर्ट के निर्णय के खिलाफ सरकार सुप्रीम कोर्ट गई थी, जहां उसकी अपील खारिज कर दी गई। पक्ष में निर्णय आने पर डीआरएम कार्यालय की लेखा शाखा के कर्मचारियों में मिठाई बांटकर खुशियां मनाईं। गोपाललाल मीणा, रामअवतार मीणा, मुकेश तिवारी, भूषण बर्वे, हरदेश चौहान, कैलाश सोनी, ओम प्रकाश शर्मा, सीमा कौशिक दिलीप कानूनगो, कुमुद रंजन पंडा, सीएल मीणा, शरद आर्य, रामभरोसे वर्मा, परमानंद वर्मा आदि मौजूद रहे।
यह है मामला
पांचवां वेतन आयोग 1 जनवरी 1996 से लागू हुआ। सभी कर्मचारियों को एरियर मिला लेकिन लेखा कर्मचारियों को प्रोफार्मा फिक्सेशन कर फरवरी 2003 से भुगतान किया गया। एसोसिएशन ने हाई कोर्ट मुकदमा लगाया, जहां से एसोसिएशन के पक्ष में आदेश हुआ। प्रकाश व्यास मंडल के जूनियर लेखा सहायक, लेखा सहायक, अनुभाग अधिकार एवं अन्य कैटेगरी के लगभग 300 लेखाकर्मियों को लाभ मिलेगा।
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